Thursday, 15 September 2016

anant chaturdashi

अनन्त चतुर्दशी पर निकलने वाली शोभायात्रा में इस बार स्वच्छता और लोगों की सुरक्षा का ध्यान रखा जाएगा। शोभायात्रा में जहां जगह-जगह डस्टबिन रखे जाएंगे वहीं डिस्पोजल का उपयोग नहीं करने का आग्रह किया जाएगा। कई करतब भी इस बार देखने को नहीं मिलेंगे। श्री अनन्त चतुर्दशी महोत्सव आयोजन समिति द्वारा लिए इन निर्णयों से स्वागत समितियों व अखाड़े के संचालकों को अवगत कराया गया है।

 अनंत चतुर्दशी महोत्सव 15 सितम्बर को मनाया जाएगा। इस पर विशाल शोभायात्रा निकाली जाएगी। संचालन श्री अनंत चतुर्दशी महोत्सव आयोजन समिति करेगी। यह सूरजपोल से रवाना होकर केथूनीपोल, श्रीपुरा, सब्जीमंडी, सरोवर रोड, रामपुरा समेत शहर के प्रमुख मार्गों से होकर निकलेगी। इसमें झाकियां, भजन मंडलियां, अखाड़े व हजारों लोग शामिल होंगे। महोत्सव की तैयारियां शुरू हो गई है।

केले के  छिलके से फिसलने का रहता है डर
आयोजन समिति के प्रभारी राजेन्द्र जैन के अनुसार शोभायात्रा का मार्ग में कई जगहों पर स्वागत किया जाता है। इस दौरान कई जगह प्रसाद में लोग केले भी वितरित करते हैं, लेकिन केले के छिलके मार्ग पर भी फेंक दिए जाते हैं। ये छिलके लोगों के लिए मुश्किल खड़ी कर देते हैं। एेसे में समिति ने स्वागत समितियों के संचालकों व पदाधिकारियों से आग्रह किया है कि वे केले के छिलकों को मार्ग पर न फेंके। उन्हें डस्टबिन में डालें। वहीं पर्यावरण को नुकसान पहुंचाने वाले उत्पादों का प्रयोग न करें। डिस्पोजल को भी मार्ग पर न फेंके। 

खतरनाक कततबों से परहेज
शोभायात्रा में इस वर्ष मुंह से आग उगलना, ट्यूबलाइट फोडऩा  समेत विभिन्न करतब नहीं दिखाए जाएंगे जिससे किसी तरह का खतरा पैदा हो। एेसे करतबों से अखाड़ेबाज व देखने वालों के भी चोटिल होने का खतरा रहता है। लाग का प्रदर्शन नहीं करने का आग्रह किया है। नगर निगम व स्वागत सत्कार समितियों से मार्ग में कचरापात्र रखने को कहा है। 

 इस तरह के  लिए हैं निर्णय
 केले के छिलके से लोगों के फिसलने का डर रहता है। वहीं डिस्पोजल, पॉलीथिन का कचरा नष्ट  नहीं होता और नालियों में जमा हो जाता है। लाग का प्रदर्शन किसी भी शरीर को नुकसान पहुंचा सकता है। इसी के चलते इस तरह के निर्णय लिए हैं। इस पर सहमति भी बनी है।


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